मुसलमानों से जुड़े मसलों पर लेखक जावेद अख्तर अक्सर मुखर रहते हैं । और उनके पक्ष में ही बोलते हैं पर पिछले कुछ महीनों से जावेद अख्तर की बोली कुछ बदली हुई है। खासतौर से लॉक डाउन के बाद से जावेद अख्तर जो कह रहे हैं वह उनके कौम के लोगों को ही पसंद नहीं आ रहा है। लॉक डाउन के दौरान जावेद अख्तर ने कहा था कि मस्जिदों में नमाज पढ़ना बंद कर देनी चाहिए । क्योंकि अभी तो मक्का मदीना भी बंद है। रमादान में भी उन्होंने घर पर ही रह कर नमाज अता करने की सलाह दी थी। और अब उन्होंने आजान पर बड़ा बयान दिया है अख्तर ने कहा है कि अजान के समय पर लाउडस्पीकर बजना क्यों जरूरी है। 50 साल पहले भी बिना लाउडस्पीकर के ही नमाज होती थी ।लाउडस्पीकर बजने से दूसरों को असुविधा हो सकती है । अख्तर के इस ट्वीट के बाद से ही मुस्लिम समाज के लोगों ने उनको ट्रोल करना शुरू कर दिया है कुछ लोग उन्हें सोनू निगम से भी कंपेयर किया है हालांकि इसके बाद एक ट्वीट में अख्तर ने यह कहा है कि मंदिर और मस्जिद दोनों ही जगह लाउडस्पीकर का उपयोग गलत है। लोगों की असुविधा को लेकर अख्तर ने बात तो बिल्कुल सही की है लेकिन कुछ लोगों को उनकी यह बात पसंद नहीं आई यह ट्वीट के जवाब से अंदाजा लगाया जा सकता है।