सीएम पद की शपथ लेने के तुरंत बाद से ही हेमंत सोरेन की सरकार एक्शन मोड में हैं. शपथ के ठीक तीन घंटे बाद सोरेन ने कैबिनेट की बैठक बुलाई. और कुछ बड़े और ताबड़तोड़ फैसले लिए. जिसमें सीएनटी और एसपीटी आंदोलन के साथ साथ पत्थलगड़ी आंदोलन में दर्ज किए गए सभी मुकदमें वापस लेने का फैसला किया और यौन शोषण के मामलों के लिए फास्ट ट्रैक कोर्ट गठित कर सुनवाई करने का निर्णय भी सुनाया. इसके अलावा अब झारखंड की नई सरकार ने प्रदेश के पुराने प्रतीक चिन्ह को बदलने का फैसला भी लिया है. लेकिन इस फैसले में जनता भी सरकार की साझेदार होगी. सोरेन के मुताबिक नया चिन्ह प्रदेश की परंपरा और संस्कृति के अनुरूप होगा. जिसके लिए सुझाव मांगे गए हैं.