जिज्जी और बाबा से मिली चुनौती, क्या होगा प्रहलाद पटेल का?

मध्यप्रदेश की दमोह लोकसभा सीट पर दिलचस्प समीकरण बनते नजर आ रहे हैं। भाजपा के पूर्व सांसद रामकृष्ण कुसमरिया कांग्रेस के टिकट से यहां से चुनाव लड़ने को तैयार हैं। वहीं भाजपा की पूर्व मंत्री कुसम मेहदेले ने भी लोधी बहुल दमोह या खजुराहो से लोकसभा की टिकट मांगा है। दमोह के वर्तमान सांसद प्रहलाद पटेल खुद लोधी समाज से हैं और जिज्जी कुसुम मेहदेले भी लोधी समाज से आती हैं। मेहदेले के टिकट मांगने से प्रहलाद पटेल के लिए मुश्किलें खड़ी हो सकती हैं। यही कारण है कि प्रहलाद पटेल को प्रेस कांफ्रेस करके दमोह पर अपना दावा ठोकना पड़ा। हालांकि इस मामले में प्रहलाद पटेल दोहरी बातें कर रहे हैं। एक तरफ वे कह रहे हैं कि जिज्जी यहां से टिकट मांग रही हैं तो उनका स्वागत है वहीं उन्होंने ये भी कहा कि वो खुद दमोह से ही चुनाव लड़ेंगें।
बाइट- प्रहलाद पटेल सांसद, दमोह
वीओ- रामकृष्ण कुसमरिया के कांग्रेस में जाने को प्रहलाद पटेल ने उनके जीवन का सबसे गलत फैसला बताया है। पटेल का कहना है कि ये उनके लिए उनके परिवार और उनकी प्रतिष्ठा के लिए घातक साबित होगा।
बाइट- प्रहलाद पटेल सांसद, दमोह
वीओ- भाजपा का गढ़ रहे बुंदेलखंड इलाके में लोधी, कुर्मी और अन्य पिछड़ा वर्ग की कुछ जातियां भाजपा का बड़ा वोट बैंक रही हैं लेकिन इन विधानसभा चुनावों में ये वोट बैंक भाजपा से खिसकता नजर आया। अगर दमोह से कांग्रेस रामकृष्ण कुसमरिया को चुनाव लड़ाती है और भाजपा की ओर से जिज्जी दावेदारी पर अड़ी रहती हैं तो प्रहलाद पटेल को दिक्कत हो सकती है।

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