निवृत्तमान-जगद्गुरू शंकराचार्य, पद्मभूषण स्वामी सत्यमित्रानंद गिरि का मंगलवार को निधन हो गया। स्वामी सत्यमित्रानंद गिरि के निधन की जानकारी मिलते ही संत समाज और हिंदू धर्मवलंबियों में शोक की लहर है। स्वामी सत्यमित्रानंद हरिद्वार में भारत माता मंदिर के संस्थापक थे। वहा सबसे कम उम्र में शंकराचार्य बनने वाले संत थे। 22 वर्ष की उम्र में सन्यास धारण करने वाले सत्यमित्रानंद ने 27 वर्ष की उम्र में ही शंकराचार्य की उपाधि प्राप्त कर ली थी। शंकराचार्य का पद त्यागने वाले भी वे एक मात्र संतेे थे क्योंकि वे आदिवासियों की सेवा करना चाहते थे। स्वामी सत्यमित्रानन्द गिरि का जन्म 19 सितंबर 1932 में उत्तर प्रदेश के आगरा में हुआ था। बुधवार को भारतमाता जनहित ट्रस्ट के “राघव कुटीर” के आंगन में उन्हें शाम चार बजे समाधि दी जाएगी। सत्यमित्रानंद गिरी के निधन पर देश के सभी बड़े नेताओं और जनप्रतिनिधियों ने शोक व्यक्त किया है।